युवक ने रोजगार करने के लिए लोन पर लिया था ऑटो, किस्त न भर पाने पर लगा दी फांसी…

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In udham singh nagar tempo driver commits sucide

पिछले एक साल से कोरोना की वजह से लोगों की नौकरियां छूट गई, सब घर पर ही थे, और इस में रोजगार का कोई श्रोत नही हो पा रहा था। लगभग इस महामारी के चलते सभी परेशान हैं। और अभी भी परेशानी से जूझ रहे हैं। वहीं एक मामला उत्तराखंड ऊधमसिंहनगर का आया है जहां, विशाल सागर उर्फ मोनू नाम के युवक ने अपना रोजगार चलाने के लिए एक टेंपो खरीदा था, लेकिन टेंपो की किश्त जमा न करने पर परेशान होकर मोनू ने फांसी लगा दी।

जानकारी के मुताबिक, मोनू की उम्र अभी सिर्फ 25 साल ही थी। वहीं उसकी मौत के बाद परिजनों का रो-रोकर बुरा हाल है। बताया जा रहा है की, ये घटना रुद्रपुर के जगतपुरा आवास विकास क्षेत्र की है, जहां जगदीश लाल के बेटे मोनू ने लोन लेकर एक टेंपो खरीदा था, पर काम ज्यादा अच्छा नहीं चल पाने के कारण टेंपो का मासिक किश्त भरने लायक रकम भी नहीं हो पा रही थी। और मोनू को टेंपो की किश्त देने होती थी, जो की हो नही पा रहा था।

और उसके बाद मोनू के ऊपर किश्त जमा करने का दबाव बढ़ने लगा तो मंगलवार को मोनू ने आत्महत्या कर दी। परिजनों के मुताबिक, रात को मोनू करीब एक बजे तक परिवार के साथ बैठा रहा था। और उस वक्त भी उसे किश्त जमा करने की टेंशन सता रही थी, लेकिन परिजनों ने ये सपने में भी नहीं सोचा था कि बेटा ऐसा कदम उठाएगा। अगर मोनू को डिप्रेशन में देख अगर परिवार वाले सतर्क हो जाते तो शायद उसकी जान बच जाती। वहीं मंगलवार सुबह लगभग साढ़े चार बजे जब उसकी मां उठी तो मोनू के कमरे का दरवाजा बंद था।

फिर मां ने जब दरवाजा खटखटाया, तो भीतर से कोई जवाब नहीं मिला। उसके बाद में घर के सदस्यों ने दरवाजा तोड़ दिया। वहीं जब वो कमरे में घुसे तो अंदर मोनू की लाश फंदे पर लटकी थी। बताया जा रहा है की, उसने कमरे के पर्दे का फंदा बनाकर फांसी लगा ली थी। उसके बाद में परिजनों ने पुलिस को सूचना दी। पुलिस ने लाश को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है। और वहीं मोनू के इस कदम से परिवार वाले सदमे में हैं, उनका रो – रोकर बुरा हाल है। मामले की जांच की जा रही है।

 

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